भारतीय इतिहास अनुसंधान परिषद (आईसीएचआर) द्वारा ‘आजादी के अमृत महोत्सव’समारोह से देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की तस्वीर हटाये जाने के मुद्दे पर विवाद उत्पन्न हो गया है और कांग्रेस के नेताओं ने सरकार पर निशाना साधा है।
कांग्रेस के कई नेताओं ने आईसीएचआर की वेबसाइट पर ‘आजादी के अमृत महोत्सव’से जुड़ी तस्वीरों का स्क्रीनशॉट ट्विटर पर साझा किया, जिनमें महात्मा गांधी, सरदर वल्लभभाई पटेल, नेताजी सुभाषचंद्र बोस, राजेंद्र प्रसाद, भगत सिंह, मदनमोहन मालवीय और वीर सावरकर के चित्र हैं, लेकिन नेहरू की तस्वीर नहीं दिखाई दे रही है।
इस मुद्दे पर आईसीएचआर की ओर से फिलहाल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है। ‘आजादी का अमृत महोत्सव’देश की आजादी के 75 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में मनाया जा रहा है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने आईसीएचआर के इस कदम को ‘भद्दा’करार दिया।
गौरव गोगोई ने कहा कि कोई भी देश स्वतंत्रता संघर्ष का उल्लेख करने वाली वेबसाइट से अपने पहले प्रधानमंत्री की तस्वीर नहीं हटायेगा, लेकिन यहां पर किया गया, जो बहुत ही ‘तुच्छ’और ‘अन्यायपूर्ण’ है।
कांग्रेस नेता शशि थरूर ने कहा कि आईसीएचआर ने पंडित नेहरू की तस्वीर हटाकर खुद को कलंकित किया है।
पार्टी प्रवक्ता पवन खेड़ा ने ट्वीट किया, ‘‘नेहरू जी की फ़ोटो हटाने से क्या खुद का क़द बढ़ जाएगा? बौना, बौना ही रहेगा।’’
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